राजस्व का महत्वपूर्णं माध्यम बना खनिज विभाग
ब्यूरो रिपोर्ट राजेश प्रसाद
राजस्व का महत्वपूर्णं माध्यम बना खनिज विभाग
जगदलपुर, 26 दिसम्बर 2020/ खनिज एक सीमित एवं गैर-अक्षय प्राकृतिक संसाधन है अतः यह अत्यंत आवश्यक है कि इनका दोहन एवं उपयोग श्रेष्ठतम तरीके से किया जाए। ये हमारे खजाने का स्त्रोत है और हमारे औद्योगिक विकास की रीढ़ है। प्रदेश के औद्योगिकी विकास में खनिज साधनों का महत्वपूर्ण योगदान होता है। खनिज साधन विभाग द्वारा खनिजों के संरक्षण, अन्वेषण एवं विधिमान्यक नियमों के अंतर्गत खनिजों के दोहन पर सतत् निगरानी रखते हुए निरंतर कार्यवाही की जा रही है। विभाग द्वारा की जा रही कार्यवाही से प्रदेश के राजकोषीय आय में निरंतर वृद्धि तथा नये खनिज भंडारों की खोज का मार्ग प्रशस्त हो रहा है।
उदार प्रकृति ने छत्तीसगढ़
को सभी आवश्यक खनिजों के वृहद् भण्डारों का वरदान दिया है। बस्तर जिला में भी प्राकृतिक सुन्दरता, सांस्कृतिक विविधता के साथ-साथ प्राकृतिक खनिज संसाधनों की प्रचुरता है। जिले में चूना पत्थर, डोलोमाइट, बाक्साइट, क्वार्टजाइट, डायमेंशन स्टोन, फर्शी पत्थर के साथ-साथ रेत, मुरूम भी मिलता है। शासन द्वारा बस्तर जिले में खनिज राजस्व का निर्धारित लक्ष्य में वित्तीय वर्ष 2019-20 में लक्ष्य 18 करोड़ 87 लाख रूपए के विरूद्ध 74.11 प्रतिशत की वसूली की गई। इसी प्रकार वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए 17 करोड़ 11 लाख रूपए लक्ष्य के विरूद्ध में 22 दिसम्बर तक 62.02 प्रतिशत राशि वसूली की गई है। जबकि वित्तीय वर्ष 2017-18 में निर्धारित लक्ष्य के विरूद्ध में 110.20 प्रतिशत अधिक तथा वित्तीय वर्ष 2018-19 में निर्धारित लक्ष्य के विरूद्ध में 109.49 प्रतिशत अधिक की वसूली की गई थी। इसके अलावा विगत दो वर्षों में अवैध खनिज उत्खनन के दर्ज प्रकरणों से 8 लाख 18 हजार रूपए से अधिक, अवैध खनिज परिवहन के प्रकरणों से 45 लाख 43 हजार रूपए से अधिक और अवैध खनिज भण्डारण के प्रकरणों से एक लाख रूपए से अधिक का अर्थदण्ड राशि शासन के पक्ष में जमा किया गया।
खनिज विभाग द्वारा बस्तर जिले में गौण खनिज हेतु सात जगहों में रेत खदानों को आंबटित किया गया है। इसी प्रकार 15 जगहों में खनिपट्टा और 111 जगहों पर उत्खनिपट्टा स्वीकृत किया गया है। शासन प्रशासन के मंशानुसार पर्यावरण की रक्षा हेतु खनिज विभाग द्वारा खनिपट्टा-उत्खनिपट्टा और अस्थाई भण्डारण क्षेत्र में 36 हजार 260 पौधे रोपित किया गया है।
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